@urmi
Urmila Verma
@urmi · 2:08

मेंहदी

article image placeholderUploaded by @urmi
प्रमाणित। मेहंदी रची। हथेलियों। में। न जाने क्यों। मेहंदी रची हथेलियां। न जाने क्यों और भी जमा लगने लगती है। और भी जमा लगने लगती है। मेहंदी रचे पैर। न जाने क्यों। मेहंदी रचे पैर। न जाने क्यों। और भी थिरकने लगते हैं। और भी थिरकने लगते हैं। आंखों में तैरते ख्वाबों का। आँखों में तैरते ख्वाबों का। 1 मुकाम होती। महंगी। 1 मुकाम होती। महंगी धन्यवाद। बताएगा। मेरी कविता कैसी लगी?

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@voicequeen
Jagreeti sharma
@voicequeen · 1:04
आपने इसी तरह से लिखते रहियेगा और हम सब को सुनाते रहियेगा। आपकी कविता में मेहंदी की खुशबू आ रही है। और आपकी कविता की तराबी आपके जीवन भी सुगंधित पुष्पों से महते रहे। और आप यूं ही अनोखी रचनाएं लिखती रही। इसी के साथ धन्यवाद।
@jayasharma
Jaya Sharma
@jayasharma · 1:10
यूं ही हाथों में मेहंदी लगती रहे। सबके और सब का जीवन यूं ही महकता रहे। इसी कामना के साथ। आपको बहुत बहुत शुक्रिया। बहुत अच्छी रचना। आपकी। यूं ही लिखती रही है। थैंक यू।
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