Adarsh Rai
@TheDevilsHorse · 7:11
जो कल थे वे आज नहीं है… 2023->2024
मैं आज अपनी आवाज में कोशिश कर सकता हूँ कि वो जो एहसास है वो जो बात है क्या वो कहीं जा सकती है तो वो कुछ पंक्तियाँ इस तरह हैं। दोस्तों जो कल थे वो आज नहीं है जो आज है वो कल नहीं होंगे होने न होने का क्रम इसी तरह चलता रहेगा हम है हम रहेंगे। यह भ्रम भी सदा पलता रहेगा कितनी खूबसूरत कितनी व्यवहारिक और कितनी सत्य को छूती हुई
Himanshi Thakur
@GreyMatter · 3:29
और मेरे ख्याल से अटल बिहारी जी की इस कविता में भी वही बताने की उन्होंने कोशिश की कि कुछ भी परमानेंट नहीं है चेंज स दी ओनली कांस्टेट? जैसे कहते भी हैं नथिंग? स पर्मनेंट तो आई थिंक वो ही चीज है जो हमें दिमाग में रख कर अपने जीवन की ओर अग्रसर होना चाहिए। मतलब वी कैन ऑलवेज हैव? अ गोल्ज? राइट वी कैन आल? सो? आलवेज फुटर एफर्ट्स? हमारे हमेशा गोल्ज होने चाहिए क्योंकि उससे परपज रहता है लाइक में। गोल्ज हैं, अपने टार्गेट्स हैं, विजन हैं।