ह**ो? एवरीवन। मुझे लगता है। आज मेरी कविता आपको अच्छी लगेगी। मेरी कविता का शीर्षक है। वृदयकी भावना मेरे वृ्दय की भावनाओं को व्यक्त करने का जरिया है। कविता मेरे वृदय की भावनाओं को व्यक्त करने का जरिया है। कविता जिस स्नेह रूपी दरिया में लगाना चाहूँ वो गोता, वो दरिया है। कविता जिस स्नेह रूपी दरिया में लगाना चाहूँ मैं गोता वो दरिया है।
Prabha Iyer
@PSPV · 1:38
नमस्ते? मैम? आपकी। जो कविता है न? सुनी। बहुत अच्छा लगा। आपने कहा कि हृदय की जो भावना है उसे प्रकट करने के लिए। हम कविता लिखते हैं। हां? हम शब्दों को इकट्ठा करके उसे वाक्य बना के, सुंदर? सा सजा के। उसे हम प्रस्तुत करते हैं? हैं? कविता के? स्वरूप? क्योंकि कविता के माध्यम से हम बहुत कुछ कह सकते हैं। जो मन में है। नॉर्मल? जो भाषा है। कोलकिल हम कह नहीं सकते हैं? क्योंकि कुछ बात ऐसी होती है जो मतलब एकदम दमिक लाइन में आती है।